क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा ‘मुझे लगता था कि दक्षिणपंथी अब कभी सत्ता में नहीं आएंगे, लेकिन अब लगता है, ये आ सकते हैं!’ फ्लोरेंस डेविड, 60 वर्षीय, पेरिस के एक आंदोलनकारी
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा ‘अमेरिकी बहुराष्ट्रीय कंपनियों को हमारे देश के कृषि अनुसंधान का अजेंडा तय करने का अवसर प्राप्त हो गया है…इनका एक मात्र लक्ष्य भारतीय कृषि को विदेशी बहुराष्ट्रीय
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा जरूरी नहीं कि मज़दूर-कामगार-दिहाड़ी मज़दूरों के हित मेंं काम करने वाला कोई मज़दूर नेता हो या कोई नामचीन हस्ती। अनुसूचित जाति और बहुत ही निम्न आय वाले
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा डोंबीवली के एमआईडीसी इलाके में स्थित अमुदान केमिकल फैक्टरी में 23 मई को बॉयलर फटने से भयंकर आग लग गई जिसमें 11 कामगारों की दर्दनाक मौत हो
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा लगभग 700 साल के मुस्लिम शासकों के राज़ में, कट्टरवादी-ब्राह्मणवादी हिन्दुओं ने सत्ता-सुख भोगा। दरबारी बनकर, मुस्लिम शासकों का शासन संभाला, मलाई खाई। उस पूरे काल-खंड में,
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा “चूंकि मज़दूरों की मौत का कोई आंकड़ा सरकार के पास मौजूद नहीं है, इसलिए उन्हें मुआवजा देने का सवाल ही पैदा नहीं होता” 14 सितम्बर, 2020 को
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा बॉम्बे, मद्रास, कलकत्ता तथा कानपुर के साथ, महाराष्ट्र का सोलापुर शहर भी, आज़ादी आंदोलन के वक़्त, मज़दूर आंदोलन का गढ़ रहा है। बॉम्बे के सेठ मोरारजी गोकुलदास
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चाृृ 1 मई, मज़दूर दिवस, मज़दूरों के गौरवशाली इतिहास का वो शानदार पन्ना है, जिसकी चमक, दुनियाभर का सर्वहारा, कभी फीकी नहीं पडऩे देगा. शिकागो के अमर शहीदों
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा ” बदलते पर्यावरण के मद्देनजऱ, कार्य क्षेत्र पर सुरक्षा एवं स्वास्थ्य सुनिश्चित करना” विषय पर विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट, 22 अप्रैल 24 को प्रकाशित हुई। मज़दूर
क्रांतिकारी मज़दूर मोर्चा 1960 के दशक के, ऐतिहासिक वियतनाम युद्ध का नाम लेकर, साम्राज्यवादी लठैत, अमेरिकी सरकार को आज भी दुनियाभर में लानत भेजी जाती है. वियतनामियों ने, अमेरिकी क़त्लेआम