खट्टर सरकार ने एमबीबीएस की फीस बढ़ाई

खट्टर सरकार ने एमबीबीएस की फीस  बढ़ाई
September 18 16:01 2022

फरीदाबाद (म.मो.) हरियाणा में 6 सरकारी मेडिकल कालेज हैं जिनमें 810 के लगभग एमबीबीएस की सीट हैं और 260 पोस्ट ग्रेजुएशन की सीट हैं । हाल ही में हरियाणा सरकार ने एमबीबीएस के 2020 के दाखिलों वाले विद्यार्थियों से 10 लाख में से फीस निकल कर बैंक लोन गारंटी बांड प्रति वर्ष 4 साल तक देने की चिट्ठी एक बार फिर पिछले हफ्ते निकाली बताई है। कुल मिलाकर कहा जा सकता है कि एमबीबीएस की कुल फीस बांड गारंटी को मिलाकर और इस पर बैंक के ब्याज को मिलाकर 52 लाख के आस पास हो गयी है।
साफ है सरकार की नीयत कि वह हरियाणा के गरीब परिवारों के बच्चों को डॉक्टर नहीं बनने देना चाहती। बताएं आप कौन इतना खर्च करके अपने बच्चे को डॉक्टर बना पायेगा?
सरकार का कहना है कि छात्र एमबीबीएस करने के बाद यदि वह हरियाणा सरकार की नौकरी जॉइन करता है तो तनखा के साथ साथ इस बैंक लोन की वापसी भी सरकार करेगी।

यदि वह सरकारी नौकरी नहीं जॉइन करता तो उसे पूरा लोन 7 साल में वापस करना होगा। साथ ही सरकार यह भी कह रही है कि वह सरकारी नौकरी की गारंटी नहीं करती। 800 डॉक्टर हर साल पास आउट होंगे और सभी सरकारी नौकरी जॉइन करना चाहें तो क्या सरकार सभी की हर साल इतनी नौकरी देने की क्षमता रखती है? यदि नहीं तो फिर बांड का पैसा नौकरी जॉइन करने पर सरकार द्वारा वापिस करने का क्या मायने रखता है? मैं सरकार से नौकरी मांगता हूं और सरकार नौकरी नहीं दे रही तो मेरे से बांड के पैसे की वापसी क्यों? गम्भीर मसला है।

पीजीआईएमएस रोहतक में छात्र इकट्ठे होकर डीन के पास गए और नाराजगी के साथ बता कर आये हैं कि हम बांड नहीं भरेंगे।

आम जन से भी उम्मीद की जा रही है कि क्योंकि उनके अपने स्वास्थ्य और इलाज का मामला इस मामले के साथ साफतौर पर जुड़ा हुआ है , इसलिए इस मसले पर छात्रों के संघर्ष में कंधे से कंधा मिलाकर शामिल हों।

खट्टर सरकार का यह कदम स्पष्ट करता है कि उसे आम जनता को चिकित्सा सेवाएं उपलब्ध कराने में कोई रुचि नहीं है। पहले से ही लचर सेवाओं को और भी लचर बनाने में उनका यह कदम और भी बढ़ावा देगा। समझने वाली बात है कि जो छात्र डिग्री लेकर 52 लाख कर्जे के साथ बाहर आयेगा वह अपने मरीजों को कैसी सेवाएं दे पायेगा। नौकरी से मिलने वाले वेतन से वह अपनी गुजर-बसर करेगा या कर्जे और उसका ब्याज उतारेगा? जाहिर है ऐसे में मरीजों की गर्दन और जेबें ही काटेगा।

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Mazdoor Morcha
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