करनाल (के सी आर्य) करनाल विजिलेंस ने एच.एस.वी.पी. के जे.ई व पटवारी को रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा सीएम सिटी करनाल तमाम दावों के बावजूद रिश्वतखोरी के मामले थमने के नाम नहीं ले रहे। पिछले दो दिन में करनाल की विजिलेंस टीम ने तीन आरोपियों को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है।
बुधवार शाम को इसने एचएसवीपी के वभाग के जेई को 50 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए तो निगदू तहसील के पटवारी को 5 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है। जानकारी के अनुसार एचएसवीपी विभाग के जूनियर इंजीनियर प्रदुमन को कंप्लीशन सर्टिफिकेट की एवज में शिकायत कर्ता से 50 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है। जबकि करनाल के संतनगर निवासी हरमिंद्र को किसान की जमीन की निशानदेही के नाम 5 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए गांव कमालपुरा से गिरफ्तार किया है।
शिकायत पर की कार्रवाई हरियाणा स्टेट विजिलेंस करनाल के इंस्पेक्टर सचिन ने बताया कि उन्हें शिकायत मिली थी कि एच.एस.वी.पी. करनाल के जूनियर इंजीनियर सेक्टर-13 निवासी प्रदुमन कंप्लीशन सर्टिफिकेट की एवज में रिश्वत मांग रहा है। शिकायत मिलने पर एक टीम का गठन किया गया और आरोपी प्रदुमन को रंगे हाथों 50 हजार रुपये की रिश्वत के साथ पकड़ लिया गया। वहीं आरोपी के घर की तालाशी होने पर 19 लाख 43 हजार 100 रुपये भी बरामद किए गए हैं।
वहीं इंस्पेक्टर सचिन ने बताया कि इसी तरह कमालपुर निगदू पटवारी हरमिंद्र के खिलाफ भी शिकायत मिली थी कि जमीन की निशानदेही कराने के नाम पर वह पांच हजार रुपये की रिश्वत मांग रहा है। इस शिकायत मिलने पर भी इंस्पेक्टर सीमा की अध्यक्षता में टीम का गठन किया गया और आरोपी को रंगे हाथों पकड़ लिया गया। आरोपी पटवारी संतनगर करनाल का रहने वाला है। इंस्पेक्टर सचिन ने बताया कि मंगलवार को 25 हजार रुपये की रिश्वत के साथ पकड़े गए लाइनमैन को बुधवार को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया है।
दूध, दही, खोया, मक्खन व आइसक्रीम के सैंपल फेल करनाल। अगर आप दूध, दही और खोया के शौकीन हैं तो सावधान हो जाएं, यदि आपको अपने स्वास्थ्य का विशेष ख्याल है तो इन चीजों में मिलावट की जा रही है। करनाल में दूध, दही पनीर समेत अन्य खाद्य पदार्थों के 204 में से 26 सैंपल फेल हो चुके हैं। जिस तेल से आप अपनी दाल सब्जी में तडक़ा लगाते हैं, वह भी खाने योग्य नहीं है। यह बात करनाल की कई डेयरी और तेल कंपनियों से लिए गए सैंपल की रिपोर्ट से पता चली है।
मिली जानकारी के अनुसार, खाद्य सुरक्षा विभाग की ओर से वर्ष 2022 में जनवरी से लेकर अगस्त तक जिले भर से खाद्य सामग्री के 204 सैंपल लिए गए थे। जिनमें से दूध, दही, खोया, मक्खन देसी घी सहित कई वस्तुओं अन्य सामग्रियों के 26 सैंपल फेल मिले हैं, जबकि 4 सैंपलों की रिपोर्ट अभी आनी बाकी है। जिन मिलावटखोरों के सैंपल फेल आए हैं, उन पर विभाग अब कार्रवाई करने की तैयारी कर रहा है। रोजाना घरेलू उपयोग में आने वाली सामग्री में दूध, दही, खोया, मक्खन, आइसक्रीम, सरसों का तेल, देसी घी सहित 24 सैंपल सब स्टैंडर्ड पाए गए हैं, जो अपने मानकों पर खरे नहीं उतरे। इससे अलग रसगुल्ले का भी सैंपल फेल आया है, जिसमें घटिया किस्म का रंग प्रयोग किया गया है। नूडल्स मसाला सहित दो सैंपल मिस ब्रांड पाए गए हैं। इसका खुलासा विभाग की ओर से जारी की गई जांच रिपोर्ट में हुआ।
मिलावटी सामग्री सेहत के लिए काफी नुकसानदायक ष्टरूह्र डॉक्टर योगेश शर्मा ने बताया कि खराब गुणवत्ता के दूध व उससे बने खाद्य पदार्थ के सेवन से पेट दर्द, आंतों में इंफेक्शन जैसी कई गंभीर शिकायतें हो सकती हैं। पैकिंग सामग्री खरीदने से पहले उसकी गुणवत्ता व पैकिंग की तिथि व एक्सपायरी डेट सहित जानकारी अवश्य लेनी चाहिए।
सैंपल अनसेफ मिलने पर यह सजा का प्रावधान जिला खाद्य सुरक्षा अधिकारी संदीप ने बताया कि सैंपल अनसेफ मिलने पर सीजेएम कोर्ट में चालान पेश किया जाएगा। प्रमाणित होने पर आरोपी को 6 माह से आजीवन कारावास तक हो सकता है। सब-स्टेंडर्ड व मिस ब्रांड पाए जाने पर ्रष्ठष्ट कोर्ट में चालान पेश किए जाएंगे। इसमें 3 से 5 लाख रुपए तक जुर्माना हो सकता है।
रिश्वतखोरी की बीमारी से खाद्य सुरक्षा विभाग भी अछूता नहीं है। सैम्पल लेने वाले क्या उसे फेल व पास करने वाले अधिकारी भी इस क्षेत्र में बुरी तरह से ग्रस्त है। जाहिर है ऐसे में फेल होने वाले सैम्पलों को पास कर दिया जाता है तथा पास होने वालों को फेल। इसी के चलते भारत में खाद्य सुरक्षा की स्थिति बहुत ही विकट है।
25 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए लाइनमैन गिरफ्तार करनाल। तमाम दावों के बावजूद रिश्वतखोरी के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे है। इसी कड़ी में करनाल विजिलेंस टीम ने पुराने मीटर के बकाया बिल को एडजस्ट करने के एवज में 25 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए लाइनमैन को गिरफ्तार किया है। विजिलेंस टीम द्वारा आरोपी लाइनमैन से पूछताछ की जा रही है और अगले दिन अदालत में पेश कर रिमांड पर ले लिया।
जानकारी के मुताबिक आरोपी सोनू लाइनमैन गांव पनौडी का रहने वाला है और गांव अरायपुरा के सब डिविजन में कार्यरत है। आरोपी लाईनमैन ने बिजली बिल को एडजस्ट करवाने के नाम पर 62 हजार रुपए की मांग की थी लेकिन बाद में 25 हजार रुपए में सौदा तय हुआ था। देर शाम विजिलेंस टीम ने आरोपी को उसके घर गांव पनौडी से पैसे लेते हुए रंगे हाथों काबू किया।
विजिलेंस इंस्पेक्टर सचिन ने बताया कि उनके पास शिकायत आई थी, जिसमें बताया गया कि घरौंडा क्षेत्र में एक प्रापर्टी की खरीद की गई थी। इस पर पहले मीटर लगा हुआ था और वह लगातार बंद पड़ा था। मीटर का बकाया बिल एडजस्ट करने और नया मीटर लगाने के लिए शिकायतकर्ता ने लाइनमैन सोनू से संपर्क किया। आरोप है कि इसके लिए लाइनमैन की ओर से पहले 62 हजार रुपये की रिश्वत मांगी थी। शिकायतकर्ता द्वारा इतनी रकम देने में असमर्थता जताने पर सौदा 25 हजार में तय हो गया था।