20 मार्च को देशभर के किसान संसद कूच करेंगे : रतनमान

20 मार्च को देशभर के किसान संसद कूच करेंगे : रतनमान
March 08 10:02 2023

रनाल (मज़दूर मोर्चा) भारतीय किसान यूनियन(भाकियू) के प्रदेश अध्यक्ष रतनमान ने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से किसानों से किए गए समझौते को लागू न किया जाना एक बार फिर किसान समुदाय को आंदोलन करने के लिए मजबूर कर रहा है। दिल्ली आंदोलन में हुए लिखित फैसले को संयुक्त किसान मोर्चा लगातार लागू किए जाने की मांग कर रहा है लेकिन सरकार टस से मस नही हो रही है। सरकार के इस किसान विरोधी रवैये से आहत होकर देशभर के किसान संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले एकत्रित होकर आने वाली 20 मार्च को संसद कूच करने की तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। बुधवार को स्थानीय किसान भवन में आयोजित की गई जिला स्तरीय किसान पंचायत को संबोधित करते हुए भाकियू प्रदेश अध्यक्ष रतनमान ने कार्यकर्ताओ का संसद कूच को सफल बनाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि इसी सिलसिले को लेकर भाकियू ने जोरशोर से तैयारियां शुरू कर दी हैं। मान ने कहा कि केंद्र सरकार की वादाखिलाफी व एमएसपी पर खरीद गारंटी कानून न बनाने तथा बिजली व पराली जलाने का बिल वापिस नही लेने तथा लखीमपुर खीरी कांड में न्याय न देने सहित अन्य मांगों को पूरा कराने के लिए संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा 20 मार्च को दिल्ली में संसद कूच करने का निर्णय लिया गया है। जिसको कामयाब बनाने के लिए किसान भवन में भाकियू के तत्वाधान में मासिक किसान पंचायत का आयोजन किया गया। किसान पंचायत की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष सरदार सुरेंद्र सिंह घुममन ने की।

इस दौरान उपस्थित किसानों ने केंद्र सरकार के खिलाफ जोरदार नारेबाजी करके रोष जाहिर किया। किसान पंचायत में संसद कूच को लेकर भाकियू कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी सौंपी गई। रतनमान ने कहा कि प्रदेशभर में संसद कूच को लेकर किसानों में भारी उत्साह दिखाई दे रहा है। जिसके चलते किसानों से जनसंपर्क अभियान शुरू कर दिया गया है। भाकियू नेता लगातार लोगों के बीच सरकार की किसान विरोधी नीतियों की पोल खोल रहे हैं। गांव-गांव पहुंच कर भाकियू कार्यकर्ताओं की टीमें 20 मार्च को दिल्ली पहुंचने की जोरदार अपील कर रही हैं।

उन्होंने कहा कि किसानों ने अपनी मांगों को लेकर करीब सवा साल पहले दिल्ली के बॉर्डरों पर लगातार 13 महीने तक आंदोलन किया था। इस आंदोलन के दौरान किसानों को बदनाम करने के प्रयास किए गए। लेकिन किसान एकता के सामने सरकार में बैठे हुए भाजपा नेताओं की कुत्सितचालें कामयाब नहीं हुर्इं। आखिरकार प्रधानमंत्री ने माफी मांग कर तीन कृषि कानूनों को वापिस लेने का ऐलान किया था। इसके साथ ही किसानों की अन्य मांगों को सरकार द्वारा मान लिए जाने की घोषनाएं भी की थी। सरकार की ओर से घोषित घोषणाओं को आज तक अमलीजामा नही पहनाया गया है। न तो एमएसपी पर खरीद गारंटी कानून बनाया गया और न ही बिजली बिल 2020 और पराली जलाने सहित अन्य किसान विरोधी कानूनों को वापस लिया गया। किसान पंचायत में उपस्थित किसान नेताओं ने केंद्र में शासित भाजपा सरकार पर आरोप लगाया कि सरकार किसान हितैषी होने की झूठी एवं नकली बातें कर रही है। जमीनी हकीकत में सरकार के वायदे हवा-हवाई साबित हो रहे है। किसान नेताओं ने जोर देकर कहा कि किसानों में सरकार की किसान विरोधी नीतियों को लेकर गहरा आक्रोश पनप रहा है।

भाकियू प्रदेशाध्य रतनमान ने कहा कि संयुक्त किसान मोर्चा की कुरुक्षेत्र में हुई बैठक में सरकार की वादाखिलाफी और अन्य मांगों को लेकर 20 मार्च को दिल्ली संसद घेराव करने का निर्णय लिया गया था। इसे सफल बनाने के लिए संयुक्त किसान मोर्चा के सभी घटक दल जनसंपर्क अभियान में लगे हुए है। जगह-जगह जाकर लोगों को सरकार की किसान एवं आम जन विरोधी नीतियों से अवगत करवा कर 20 मार्च को दिल्ली पहुंचने का आह्वान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि किसानों एवं आम जनता में सरकार की नीतियों के खिलाफ ना केवल आक्रोश है बल्कि सत्ता में बैठे हुए नेताओं को सबक सिखाने के लिए कठोर निर्णय लेने के लिए दबाव डाला जा रहा है।

उन्होंने हुंकार भरी कि यदि सरकार ने इस बार किसानों की मांगें नहीं मानीं तो आने वाले आम चुनाव में किसान संगठन भी बड़ा एवं कड़ा फैसला ले सकते हैं। मान ने कहा कि सत्ता में बैठे हुए नेता किसानों के साथ विश्वासघात कर रहे हैं। किसानों की आय दोगुनी करने के दावे भी हवा-हवाई हो चुके हैं। किसानों से स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट लागू करने का प्रधानमंत्री का वायदा तो आज तक भी पूरा नहीं किया गया। भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष रतनमान ने जोर देकर कहा कि अब किसान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा के नेताओं के बहकावे में नहीं आएंगे। अब किसान अपना हक लेकर रहेंगे वरना लोकतंत्र में वोट की ताकत से झूठ बोलने वालों को बड़ा सबक सिखाएंगे। इस अवसर पर भाकियू के प्रदेश सरंक्षक प्रेमचंद शाहपुर, प्रदेश संगठन मंत्री शाम सिंह मान, जिला प्रवक्ता सुरेंद्र सागवान, जिला संरक्षक बाबूराम डाबरथला, अंग्रेज सिंह लाठर, हुकम सिंह दादुपुर, रणबीर सिंह कतलाहेड़ी, सुनील नली खुर्द, जोगिंद्र सिंह झिंडा, कृष्ण जागलाल, कलेकटर सिंह राणा, युवा नेता मंजीत मान, मेहताब सिंह विर्क, सतबीर सिंह गढ़ी बीरबल सहित काफी संख्या में किसान मौजूद थे।

  Article "tagged" as:
  Categories:
view more articles

About Article Author

Mazdoor Morcha
Mazdoor Morcha

View More Articles