फ्रेंड्स कॉलोनी में फिर से सीवर व पेयजल संकट

फ्रेंड्स कॉलोनी में फिर से सीवर व पेयजल संकट
July 18 01:04 2022

फरीदाबाद (म.मो.) ओल्ड फरीदाबाद चौक व रेलवे लाइन के बीच बसी इस कॉलोनी में करीब 10 हजार की आबादी है। गतांक में ‘मज़दूर मोर्चा’ व अन्य कई समाचार पत्रों में इस कॉलोनी की दुर्दशा का विवरण प्रकाशित किया गया था। जब भी हल्की सी बारिश होती है तो सीवर का पानी गलियों में तो फैलता ही है, पेयजल लाईन में मिक्स होकर घरों तक में भी पहुंचता है। गलियों में फैले सीवेज को तो फिर  भी जैसे-तैसे सहन किया जा सकता है लेकिन पेयजल के स्थान पर सीवर का पानी इस्तेमाल नहीं किया जा सकता। ऐसे में बहुत महंगे भाव इन लोगों को पानी के टैंकर खरीदने पड़ते हैं।

मध्यम एवं निम्न मध्यम वर्ग के लोगों की यह कॉलोनी करीब 50 साल पुरानी है। नगर निगम ने बाकायदा विकास शुल्क लेकर इस कॉलोनी को नियमित किया हुआ है। इसलिये नगर निगम का यह प्राथमिक दायित्व बनता है कि कॉलोनी बासियों को शुद्ध पेयजल की आपूर्ति करे।

क्षेत्र की विधायक सीमा त्रिखा व निगम पार्षद बेशर्म होकर इस कॉलोनी में वोट मांगने आ जाते हैं। लेकिन जब कॉलोनी की 20-30 महिलायें अपना दुखड़ा रोने सीमा त्रिखा के घर जाती हैं तो वे उनसे मिलना तक पसंद नहीं करती। घंटों इंतजार कराने के बाद बमुश्किल दो महिलाओं को मिलने के लिये अंदर बुलाती हैं। दरअसल इसमें गलती कॉलोनीवासी महिलाओं की भी है। उन्हें सामूहिक रूप से सीमा के दरवाजे पर बेझिझक होकर खूब जमकर नारेबाज़ी करते हुए अपनी समस्याओं का बखान करना चाहिये। इस तरह उनकी समस्या विधायक के बहरे कानों के साथ-साथ आस-पास रहने वाले अन्य लोगों तक भी पहुंचेगी।

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Mazdoor Morcha
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