फरीदाबाद सेक्टर तीन में रेनहार्वेस्टिंग के नाम पर राजनीतिक ड्रामेबाजी…

फरीदाबाद सेक्टर तीन में रेनहार्वेस्टिंग के नाम पर राजनीतिक ड्रामेबाजी…
August 22 13:26 2020

 

बल्लबगढ (म.मो.) यूं तो आजकल सरकार का कोई भी काम ड्रामेबाज़ी से कम नहीं रह गया है, यह चाहे महिला कॉलेज बनाने का हो, स्कूल या अस्पताल बनाने का। परन्तु इस बरसात के मौसम में सेक्टर तीन के निवासियों के लिये, खास कर हाउसिंग बोर्ड के मकानों के लिये बड़ी मुसीबत बना हुआ है।  अग्रवाल पब्लिक स्कूल के सामने व मार्केट के बगल में स्थित करीब दो एकड़ का मैदान एक छिछले से तालाब की शक्ल ले चुका है। इसके भर जाने के बाद पानी बह कर सामने वाले हाउसिंग बोर्ड के मकानों में घुस रहा है। जब घरों में इस तरह का पानी घुसता है तो उनमें रहने वालों की दुर्दशा को समझा जा सकता है।  स्थानीय निवासी शिव मलिक, जसवीर मलिक, सीडी गुप्ता, भगवान शर्मा, चरण सिंह यादव, जैसे समाज सेवियों ने अपनी इस व्यथा को लेकर नगर निगम से लेकर विधायक व सांसद तक खूब रोते रहे। परन्तु इन नेताओं को यह समस्या नज़र आई तो केवल चुनावों के वक्त। पहली बार शारदा राठौर को नज़र आई तो उन्होंने उसी नगर निगम से एक रेन वाटरहार्वेस्टर बनवाया जो कि नगर निगम को स्वत: बना देना चाहिये था, परन्तु ऐसा कर देने से श्रेय प्राप्त करने के लिये इस तरह की समस्याओं के नाम पर जनता से खिलवाड़ किया जाता है।

इस हार्वेस्टर से भी जब समस्या हल नहीं हुई तो दूसरा हार्वेस्टर लगाने का श्रेय मूल चन्द शर्मा ने प्राप्त किया। इन दोनों हार्वेस्टरों पर नगर निगम ने जनता का 10 लाख रुपया तो डकार लिया, जो ठेकेदारों, अफसरोंं व राजनेताओं में बंट गया। लेकिन जनता की समस्या आज भी ज्यों की त्यों बनी हुई है। राजनेताओं के आदेश एवं श्रेय बटोरने तथा 10 लाख खर्च करने के बावजूद समस्या ज्यों की त्यों क्यों बनी हुई है?

इसका एकमात्र कारण जैसे धूर्त एवं भ्रष्ट राजनेता उनसे फाल्तू लुटेरे निगम के अफसरान। यदि ये लोग बेइमान व लुटेरे न होते तो सारा पानी ज़मीन में समा जाता लेकिन इन धूर्त एवं लुटेरों ने फर्जीवाड़ा करके केवल फाइलों में रेनहार्वेस्टर बना कर बिल पास करा लिये और सारा पैसा डकार लिया।

जब रेनहार्वेस्टर किसी काम का ही नहीं था तो उसका ‘सदुपयोग’ करने का बेहतरीन विकल्प ढूंढ निकाला टैक्सी चालकों ने।  उन्हें यह जगह पसंद आई और उसके ऊपर तंबु लगाकर अपना टैक्सी स्टेंड बना दिया। ऐसा भी नहीं कि केवल सेक्टर तीन में ही रेन हार्वेस्टर की यह दुर्दशा है, बल्कि पूरे शहर में बने तमाम हार्वेस्टरों की लगभग यही स्थिति है। मजे की बात तो यह है कि यह बात तमाम आला अफसरान व मुख्यमंत्री खट्टर तक को मालूम है। परन्तु कार्यवाही तो कोई तब करें न जब वह खुद इस लूट में शामिल न हो।

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Mazdoor Morcha
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